आकाश में विमानों की गर्जना, एयरफोर्स डे पर दिखी भारत की ताकत

90th Indian Air Force Day: इस साल वायु सेना अपना 90वां स्थापना दिवस मना रही है। इस कार्यक्रम की खास बात है कि पहली बार इसका आयोजन चंढीगढ़ में किया जा रहा है। इस मौके पर तीनों सेनाओं की सर्वोच्च कमांडर और राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू (Droupadi Murmu) और रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह (Rajnath Singh) आयोजन में शामिल होगें। इंडियन एयर फोर्स चीफ ने इस खास मौके पर कहा कि सेना हर चुनौती के लिए तैयार है। नई तकनीकी से लैस सिस्टम को वायुसेना में शामिल किया जा रहा है। वायुसेना भविष्य के लिए तैयार हो रही है। आत्मनिर्भर भारत के लिए हम आगे बढ़ रहे हैं। इसके साथ स्वदेशी हथियारों को भी सेना में शामिल किया जा रहा है।

वायु सेना प्रमुख एयर चीफ मार्शल वी.आर. चौधरी ने सेना को संबोधित करते हुए कहा कि अग्निपथ योजना के जरिए भारतीय वायुसेना में वायुवीरों को शामिल करना एक बड़ी चुनौती है लेकिन यह हमारे लिए भारत के युवाओं की क्षमता का इस्तेमाल कर इसे देश की सेवा में लगाने का समय है। चीफ मार्शल ने आगे कहा कि हमें बहुत मेहनत और लगन से यह गौरवशाली विरासत प्राप्त हुई है। इसे यहां तक लाने वाले हमारे पुरखों ने बहुत बलिदान दिया है जिसे हमें हमेशा याद रखना होगा। अब इसे आगे ले जाने की जिम्मेदारी हम पर है।

साल 1932 में भारतीय वायुसेना की हुई स्थापना

भारतीय वायुसेना (Indian Airforce) की स्थापना साल 1932 में रॉयल इंडियन एयरफोर्स (Royal Indian Air Force) के नाम से की गई थी। इस साल आयोजन में करीब 75 एयरक्राफ्ट ने हिस्सा लिया और इससे अलग 9 विमानों को स्टैंड बॉय पर रखा गया। वायुसेना का यह कार्यक्रम चंढीगढ़ से पहले दिल्ली के नजदीक हिंडन एयरबेस आयोजित किया जाता था। स्थापना दिवस के मौके पर वायुवीरों ने जमीन पर अपने शौर्य का प्रदर्शन किया। वहीं आकाश में उड़ान भरते विमानों ने दर्शकों का ध्यान अपनी ओर खींचा।

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